Silence
is our immovable, stable and healthy land,
which makes us take full action
and gives us the sense to live and die.
- Have you heard the sound of calm atmosphere as soon as the storm is over?
- Are you aware of that quiet, when you are passing on such a road, no one around here, even in the moving beat of fear, silent music, ever heard?
- You asked a question to someone or someone asked you a question, did you ever pay attention to the inner silence before answering?
- Have you ever felt that quiet, when you were passing through some small bushes, and you were so aware that you used to get scared even by the sound of your feet?
- Have you ever had such an incident that you are alone in the house, and even a little hiccup outside makes you alert, do you remember the silence of that time?
- When everyone is silent during the night, there is a loud blast of any kind, have you seen the response of that blast in yourself?
- Have you ever noticed the quiet that lies inside yourself in deep sadness?
- Being silent after the scene of the fight while watching the cinema, what effect does it have on you, have you ever noticed?
- Have you ever heard the echoes in the pronunciation of words while listening to the song?
Silent :
Quiet is the living ground of all the universe, which we hear from every part of life. This is the land from which every creature is born and grows. Every emotion is born out of silence, and silent only seizes every emotion in itself. Love is born from the silence of silence, when the full flow of love flows between two lovers, then they both look at this flowing flow of complete silence, at that time love manifests itself in its full state. Love born out of quiet takes lovers in the lap of silence.
The most unique and simple silent experience:
Beauty is the most natural method of meditating the mind. Seeing the beauty, not only our mind, our skin also becomes alert. The beauty had to be spread to the soul, it also shakes the particles of the body.
Beauty affects our mind, body and soul at the same time. Why?
There is only one silence, but its lines are infinite. Any form of quiet, which is understood as silent, that person starts to move in life.
The effect of beauty on us, it is so deep that we are aware of beauty, beauty is visible anywhere, we wake up.
How are we aware of beauty?
Because our root is soul, what can be more beautiful than soul. The soul's abode is silent and the nature of the soul is beauty. No matter what kind of person or any creature it is, it will definitely be beautiful. The aura of the beauty of every living being makes its own patterns out of waves of different qualities.
No matter how those lines are made, its land will remain silent, which gives happiness, joy and peace to every living being.
When we become silent, then there will be beauty in every action, because then we become aware that every action happens, not done.
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चुप हमारी अचल, स्थिर और शांत ज़मीन है,
जो हम से पूर्ण एक्शन करवाती है
और हम को जीने और मरना का सहूर देती है
- क्या आप ने तूफान खत्म होते ही शांत वातावरण की आहट को सुना है ?
- क्या आप उस चुप से वाकिफ हो, जब आप किसी ऐसी सड़क पर से गुज़र रहें हो, यहाँ पर आसपास कोई भी नहीं, भय पर चलती धड़कन में भी चुप का संगीत, कभी सुना ?
- आप ने किसी को सवाल पुछा या आप को ही किसी ने सवाल पूछा, जवाब देने से पहले आप ने आपने ही भीतर की चुप पर कभी ध्यान दिया ?
- क्या आप ने कभी उस चुप को अनुभव किया, जब आप किसी छोटे छोटे झाड़ों में से गुज़र रहे थे, और आप इतने जागरूक थे कि आप खुद के पैरों की आहट से भी घबरा जाते थे ?
- क्या आप के साथ कभी ऐसी घटना हुई है कि आप घर में अकेले हो, और बाहर थोड़ी सी हिलजुल भी आप को चौकन्ना कर देता है, उस वक़्त की चुप क्या आप को याद है ?
- रात के वक़्त जब हर पास चुप ही है तो किसी भी किसम का कोई ज़ोर से धमाका होता है, तो क्या आप ने उस धमाके की पर्तिकिर्या को खुद में देखा है ?
- बहुत गहरी उदासी में खुद के भीतर ही बसी चुप को कभी आप ने गौर से देखा है ?
- सिनेमा देखते हुए लड़ाई के सीन के बाद एक दम चुप का होना,यह आप पर क्या प्रभाव डालता है, क्या कभी ध्यान दिया ?
- क्या आप ने गीत सुनते वक़्त लफ़्ज़ों के उच्चारण में कभी आपने ही भीतर उस उच्चारण की गूँज सुनी है ?
चुप :
चुप तमाम ब्रह्माण्ड की जीवत ज़मीन है , जो हम को ज़िंदगी के हर हिस्से में से सुनाई देती है। यह वो ज़मीन है, जिस से हर जीव पैदा होता है और आगे बढ़ता है। चुप में से ही हर भावना का जन्म होता है और चुप ही हर भावना को खुद में सीमेट लेती है। प्यार चुप की कुख में से ही जन्म लेता है , जब दो प्रेमिओं के बीच प्यार का पूर्ण बहा बहता है तो वो दोनों भी पूर्ण चुप हो के इस बहते बहा को देखतें हैं, उस वक़्त प्यार खुद में सम्पूर्ण अवस्था को प्रपित करता है। चुप में से पैदा हुआ प्यार चुप की गोद में ही प्रेमिओं को ले जाता है।
सब से अनूठी और सरल चुप का अनुभव:
सुंदरता मन को मेडिटेट करने की सब से गहरी कुदरती विधि है। सुंदरता को देख कर हमारा मन ही नहीं , हमारी चमड़ी भी चौकन्नी हो जाती है। सुंदरता ने आत्मा तक तो फैला रखना ही था, यह जिस्म के कण कण को भी हिला देती है।
सुंदरता हमारे मन, जिस्म और आत्मा , तीनों पर एक साथ ही प्रभाव डालती है। क्यों ?
चुप एक ही है, पर इस की तर्ज़ अनंत हैं। चुप का कोई भी रूप है, जिस को चुप की समझ लग गई, वो व्यक्ति जीवन में गति करने लग जाता है।
सुंदरता का जो हम पर प्रभाव पड़ता है, वो इस लिए गहरा है कि हम सब सुंदरता से वाकिफ है, कहीं भी सुंदरता दिखाई देती है, हम जाग जातें हैं।
सुंदरता से हम वाकिफ कैसे हैं ?
वो तर्ज़ कैसे भी बने , उस की ज़मीन चुप ही होगी, जो हर जीव को ख़ुशी, आनंद और शान्ति देती है
जब हम चुप से जानू हो जातें हैं तो हमारे हर एक्शन में सुंदरता होगी, क्योंकि तब हम जान चुक्के होतें हैं कि हर एक्शन होता है, किया नहीं जाता।